इससे पहले भी कई मीडिया रिपोर्ट्स में भारत और पाकिस्तान के बीच यूएई की मध्यस्थता की बातें कहीं गई थीं, लेकिन ऐसा पहली बार है, जब उसके किसी अधिकारी ने औपचारिक तौर पर इसे स्वीकार किया है। दरअसल स्टैनफर्ड यूनिवर्सिटी के हूवर इंस्टिट्यूशन की ओर से आयोजित एक कार्यक्रम में उन्होंने अमेरिका के पूर्व राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार एचआर मैकमास्टर से बातचीत करते हुए यह बात कही। अफगानिस्तान में पाकिस्तान की अहम भूमिका को लेकर पूछे गए एक सवाल के जवाब में यूएई के राजदूत ने खुद इस बात खुलासा किया है। दरअसल अमेरिका ने 11 सितंबर, 2021 तक अफगानिस्तान से अपने सभी सैनिकों को वापस बुलाने की बात कही है। इसके साथ ही उसने अफगानिस्तान में शांति बहाली में भारत और पाकिस्तान की भूमिका को अहम बताया है।
कई सप्ताह पहले एक मीडिया रिपोर्ट में यूएई की ओर से मध्यस्थता की बात कही गई थी। दावा किया गया था
दुबई में रॉ और आईएसआई के अधिकारियों ने की है मीटिंग
बता दें कि न्यूज एजेंसी रॉयटर्स की एक रिपोर्ट में दावा किया गया है कि भारतीय खुफिया एजेंसी रॉ और पाकिस्तान की आईएसआई के टॉप अधिकारियों के बीच जनवरी में सीक्रेट बातचीत हुई है। इस बातचीत में कश्मीर में सैन्य तनाव कम करने को लेकर भी बात हुई है। रिपोर्ट के मुताबिक इस मीटिंग को कराने में भी यूएई ने अहम भूमिका अदा की है। हालांकि अब तक अल ओतैबा या फिर रॉयटर्स की रिपोर्ट को लेकर भारत सरकार की ओर से कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है।
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